
प्रेस विज्ञप्ति
दिनांक 28 सितंबर’ 2024, शनिवार
पुण्य श्लोक राजमाता अहिल्या देवी होलकर 300वी जयंती समारोह
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, गाजियाबाद महानगर द्वारा जन-जन उन्नयन महान शिव भक्त पुण्यश्लोक राजमाता अहिल्याबाई होल्कर जी की जन्म जयंती के उपलक्ष में प्रबुद्ध नागरिक गोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभआरम्भ सेवा भारती के बहनों द्वारा देवी सरस्वती वंदना से किया गया। इसके पश्चात ‘नृत्य with elegance (group of performing arts)’ बालिकाओं द्वारा कत्थक नृत्य प्रस्तुत किया गया।
तत्पश्चात् मुख्य अतिथि श्री डॉ रमेश माधवन पांडव (सदस्य अखिल भारतीय समरसता गतिविधि मंडल राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ) व श्री विनोद जी (सह प्रांत प्रचारक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ मेरठ प्रांत) व डॉक्टर श्रीमती अनुपम भारद्वाज (प्राचार्य सुशीला इंटर कॉलेज) द्वारा दीप प्रज्वलित करके की गई कार्यक्रम का शुभारंभ डॉ श्रीमती अनुपम भारद्वाज द्वारा सभी का स्वागत किया गया तथा उन्होंने देवी अहिल्याबाई द्वारा स्त्रियों के उत्थान में किए हुए कार्यों की चर्चा करते हुए समाज को कैसे शासन प्रशासन धार्मिक भावनाओं के साथ में चलाने की योग्यता अहिल्याबाई होलकर में थी। उन्होंने महिलाओं के सशस्त्रीकरण पर किस प्रकार कार्य किया इसकी चर्चा विस्तृत रूप से की तथा संघ के द्वारा किए हुए कार्यों की भी चर्चा उन्होंने बहुत से उदाहरण को देते हुए की । इसी क्रम के अगले वक्ता श्री विनोद जी भाई साहब द्वारा संघ की 99 वर्षों में हुए बदलाव की चर्चा करते हुए संघ कितनी मुश्किलों से माननीय बलिराम हेडगेवार जी के समय में किस तरह से संघ का काम शुरू किया और उसके बाद संघ को आज इस मुकाम पर पहुंचने मैं कितनी कठिनाइयों का सामना करना पड़ा व संघ के अगले पांच प्रकल्पों की विस्तृत चर्चा करी इसमें मुख्य रूप से परिवार प्रबोधन स्व का भाव, पर्यावरण तथा वाटर मैनेजमेंट जैसे विषयों को विस्तृत जानकारी के साथ में संघ का रोल किस प्रकार इस व्यवस्था में तय किया जा सकता है इस पर चर्चा की l इसी क्रम में मुख्य वक्ता डॉक्टर रमेश माधवराव पांडव ने माता अहिल्याबाई होलकर के युद्ध कौशल, धर्म परायणता, लोक कल्याणकारी कार्य, आर्थिक नीति, न्याय प्रियता , राष्ट्रीय दृष्टि उनके द्वारा किए गए सभी धार्मिक नगरीयों के मंदिरों में कराए गए जीर्णोद्धार की जानकारी क्रमबद्ध तरीके से सोमनाथ मंदिर, पुष्कर जी मंदिर, वृंदावन मंदिर, अयोध्या, उज्जैन , नासिक, एलोरा महाराष्ट्र, गंगोत्री, देवप्रयाग ,आदि जगहों पर बहुत सारे कार्य रानी अहिल्याबाई द्वारा कराए गए। इस विषय को विस्तृत रूप से चर्चा की तथा उनके शासन में उनके पुत्रों द्वारा गलती किए जाने पर उनके द्वारा लिए गए फैसले के बारे में भी विस्तृत जानकारी दी कई कुरीति के बारे में भी चर्चा कई इसमें प्रमुख रूप से सती प्रथा का समापन रानी अहिल्याबाई के शासनकाल में ही हुआ था इस प्रकार अनेकों उदाहरण देते हुए रानी अहिल्या की शासन प्रशासन करने की योग्यता से हमारा परिचय हुआ तथा युवाओं को इस विषय पर पीएचडी करने के लिए भी प्रेरित किया अंत में उन्होंने रानी अहिल्याबाई के विचारों को आगे बढ़ने पर अपने बौद्धिक को विराम दिया l कार्यक्रम के अंतर्गत विशिष्ट सेवाओं के लिए Dr तारा गुप्ता (गांधर्व संगीत महाविद्यालय) और श्रीमती शालू सिंह (सेवा समर्पण कल्याण समिति) को सम्मानित किया गया। समारोह में संघ के क्षेत्र, प्रांत एवम विभाग के अनेक गणमान्य अधिकारी भी उपस्थित रहे। कार्यक्रम की समाप्ति के पश्चात जलपान की व्यवस्था की गई।
प्रचार टोली (गाजियाबाद)